Sonika Tandi
Sonika Tandi is Junior Hockey Women Team Captain for Championship in Spain. She is from Galar (गालड़) Village in Rajgarh tahsil of Churu district in Rajasthan. She was born on 20.3.1997 in the family of Daulat Ram Tandi.
परिचय
सादुलपुर के गांव गालड़ की सोनिका टांंडी राष्ट्रीय स्तर पर हॉकी प्रतियोगिता में पदक जीत रही है। वर्ष 2011 में सब जूनियर नेशनल हॉकी प्रतियोगिता आंध्रा में सोनिका ने रजत, 2012 में चंडीगढ़ में इसी प्रतियोगिता में रजत पदक जीता। 2013 में भोपाल में सब जूनियर नेशनल हॉकी प्रतियोगिता में सोनिका ने पहला स्वर्ण पदक जीता।[1]
रियो ओलंपिक में जाने की तैयारी में
चूरू जिले के सादुलपुर उपखण्ड के गांव गालड़ की बेटी सोनिका टांडी रियो ओलंपिक में जाने की तैयारी कर रही है। वह इसके लिए बेंगलुरू में प्रशिक्षण ले रही है। हॉकी टीम की यह खिलाड़ी रियो ओलंपिक के लिए पसीने बहा रही है। सोनिका टांडी छह बार राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता में स्वर्ण पदक जीत चुकी है। वह गत वर्ष अण्डर 19 टीम में भारत की ओर से न्यूजीलैंड में पांच मैचों की शृंखला खेल चुकी है। सोनिका ने 2 नवंबर 2014 को न्यूजीलैंड, पांच सितम्बर 2015 को एशिया कप चाईना एवं 16 फरवरी 2016 को साउथ एशियन खेल गोवाहाटी में भी प्रतिभा का प्रदर्शन कर चुकी है। सोनिका दक्षिण एशिया गैम्स (सेफ) में टीम इण्डिया हॉकी में बतौर मिड फिल्डर के तौर पर चुनी गई है।टीम ने सेफ गेम में स्वर्ण पदक जीता था। इधर चार जुलाई को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने आवास पर रियो के लिए पसीने बहा रहे खिलाडिय़ों को भोजन पर आमंत्रित किया। मोदी ने खिलाडिय़ों से चर्चा की। मोदी ने टांडी का अभिनंदन किया। यह जानकारी सोनिका के पिता दौलतराम टांडी ने दी।[2]
भारतीय हाकी टीम की कप्तान
सोनिका टांंडी का चयन भारतीय हाकी टीम की कप्तान के रूप में किया: सादुलपुर तहसील के गालड़ गांव की बेटी सोनिका टांडी को भारत की जूनियर हॉकी टीम का कप्तान चुना गया है। उनके चयन की घोषणा भोपाल में 28 सितंबर को हुई बोर्ड की बैठक में हुई है। सोनिका की इस उपलब्धि से चूरू जिले में खुशी की लहर है। सोनिका 22 अक्टूबर से स्पेन में होने वाली चैम्पियनशिप में देश का प्रतिनिधित्व करेंगी। फिलहाल सोनिका दिल्ली में आयोजित भारतीय हॉकी टीम कैंप में अभ्यास कर रही हैं। सोनिका ने वर्ष 2008 में डीएवी पुलिस पब्लिक स्कूल हिसार में हॉकी की शुरुआत की थी। वर्ष 2009 से साई में खेल अभ्यास शुरू कर दिया। कड़ी मेहनत के बाद वह भारतीय टीम का हिस्सा बन गई। गांव गालड़ के दौलत टांडी व संतोष के घर 20 मार्च 1997 को जन्मी सोनिका ने 5वीं तक की पढ़ाई गांव के स्कूल में की।[3]
मिट्टी के मैदान से की शुरुआत: हिसार में राजकीय कॉलेज में बीए द्वितीय वर्ष की छात्रा सोनिका ने बताया कि उन्होंने साई में बिना एस्ट्रोटर्फ मैदान में मिट्टी के मैदान पर हॉकी का अभ्यास किया। कठिन मेहनत और कोच आजसिंह मलिक, प्रोमिला तथा सरदार हरभजनसिंह ने हॉकी की ओर से सिखाई गई बारीकियों के कारण उन्हे यह मुकाम मिला। उसने बताया कि अब ओलंपिक में भारत का नेतृत्व करना उनका लक्ष्य है। इसके लिए प्रयासरत हैं।[4]
अब तक की जीत का सफर:
- वर्ष 2011 में सब जूनियर नेशनल हॉकी प्रतियोगिता आंध्रा में सोनिका ने रजत,
- 2012 में चंडीगढ़ में इसी प्रतियोगिता में रजत पदक जीता।
- वर्ष 2013 में भोपाल में सब जूनियर नेशनल हॉकी प्रतियोगिता में सोनिका ने पहला स्वर्ण पदक जीता। इसी वर्ष वह सीनियर टीम में भी खेली। जिसमें बेहतर प्रदर्शन के बल पर स्वर्ण पदक हासिल किया। *वर्ष 2014 में रांची में वुमेन नेशनल प्रतियोगिता हुई। इसमें स्वर्ण पदक जीता।
- 2015 में चीन में सितंबर माह में हॉकी के एशिया कप में बेहतर प्रदर्शन के बल पर चौथे स्थान पर रही।
- वर्ष 2016 में सेफ गेम में भी सोनिका ने स्वर्ण पदक हासिल किया और वह टीम इण्डिया हॉकी में मिड फील्डर चुनी गई है।[5]
External links
References
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